देशभर की विभिन्न मंडियों में गेहूं की आवक और भाव में मिला-जुला रुख देखने को मिला। दिल्ली में एमपी, यूपी और राजस्थान लाइन के गेहूं का भाव ₹2850/2860 प्रति क्विंटल पर स्थिर बना रहा। बीते 15-16 दिनों में भावों में ₹100 की तेजी आई है, जिससे व्यापारी एक बार माल बेचने की सलाह पर विचार कर रहे हैं।
उत्तर भारत की मंडियों में, सीतापुर में भाव ₹2585/2590 और जबलपुर में ₹2600/2625 दर्ज हुआ, जहां 3000 कट्टे गेहूं की आवक रही। समस्तीपुर में ₹2650/2750 प्रति क्विंटल भाव के साथ 25 टन गेहूं आया। ललितपुर, लखीमपुर, हरदोई और शाहजहांपुर जैसे मंडियों में भी 2000–3000 कट्टों की आवक रही और भाव ₹2525 से ₹2650 के बीच रहे।
मध्य प्रदेश की प्रमुख मंडियों जैसे सीहोर, मंदसौर, नीमच, देवास और उज्जैन में मिल क्वालिटी गेहूं ₹2600–2700 के दायरे में व्यापार हुआ, जबकि लोकवान और सरबती किस्में ₹2800 से ₹3100 तक बिकीं। नीमच में बेस्ट लोकवान क्वालिटी ₹3100 तक पहुंची, जो पूरे बाजार में उच्चतम स्तर पर रही। इंदौर में 3% छूट पर मिल गेहूं ₹2875/2900 पर रहा, वहीं अन्य शहरों जैसे सेंधवा, अहमदनगर, मालनपुर और निमरानी में भी ₹2700–2870 की मिल डिलीवरी दर्ज की गई।
दक्षिण भारत में, हैदराबाद में एमपी लाइन गेहूं ₹3070, कोयम्बटूर में ₹3060 और बंगलौर में यूपी गेहूं ₹3060 प्रति क्विंटल पर रहा। सतारा में 4% छूट के बावजूद भाव ₹3110 तक पहुंचा, जो दक्षिण भारत में सबसे ऊंचा भाव रहा। उधर, दाहोद मंडी में गेहूं ₹2790 (+10) पर बिका।
उत्तर प्रदेश की मंडियों जैसे मैनपुरी, एटा, डिबाई, खैर और गोरखपुर में ₹2540 से ₹2630 के दायरे में व्यापार हुआ, जबकि मंडियों की आवक 500 से 10,000 बोरी तक रही। वहीं मिल डिलीवरी में जबलपुर, रायपुर, बिलासपुर और नागपुर जैसे शहरों में ₹2700–2820 के बीच व्यापार हुआ।
राजस्थान में कोटा, जयपुर, श्रीगंगानगर और बीकानेर की मंडियों में मिल क्वालिटी और टुकड़ी गेहूं का भाव ₹2600 से ₹2750 रहा। महाराष्ट्र के राजकोट, पुणे, जलगांव और मुंबई में ₹2500 से ₹3050 तक भाव रहे, जहां पुणे में एमपी लोकवान नेट ₹2910 और मुंबई में राजस्थान नेट ₹2800 दर्ज हुआ।
केंद्रीय पूल में इस वर्ष गेहूं की रिकॉर्ड खरीद और बढ़ी हुई रिज़र्व प्राइस नीति के चलते, भावों में भारी गिरावट की संभावना कम है। सरकार द्वारा रिजर्व प्राइस ₹250 बढ़ाकर तय करने के कारण व्यापारी फिलहाल इन भावों पर माल निकालना फायदेमंद मान रहे हैं। भविष्य की चाल पूरी तरह से सरकारी बिक्री नीति पर निर्भर करेगी।
ट्रेडर्स के लिए सुझाव: वर्तमान भावों पर आंशिक बिक्री करना लाभदायक हो सकता है। आगे की तेजी की संभावनाएं सीमित दिख रही हैं, लेकिन गिरावट भी सीमित है।